प्रयागराज: वर्दी का रौब दिखा इंस्पेक्टर अलग वार्ड में कराना चाहता था मां का इलाज, मना करने पर डाक्टर का सिर फोड़ा
जैसे को तैसा: बदले में डाक्टरों ने इंस्पेक्टर और तीन भाईयों को दौड़ा कर पीटा, मरीजों का इलाज रोका, हड़ताल
इंस्पेक्टर को सस्पेण्ड कर कड़ी कार्रवाई के आश्वासन पर माने डाक्टर
इलाज के बिना मरीज तड़पने लगे और अस्पताल में हाहाकार मच गया
न्यूज टुडे नेटवर्क। यूपी के प्रयारागज में इंस्पेक्टर की संक्रमित मां को कोविड वार्ड में भर्ती कर देने पर बवाल हो गया। इंस्पेक्टर ने वर्दी का रौब दिखाते हुए वहां मौजूद जूनियर डाक्टर को धुन दिया। मारपीट में डाक्टर का सिर फट गया। कोविड संक्रमित होने के बावजूद इंस्पेक्टर अपनी मां का इलाज अलग वार्ड में कराना चाहता था। मामला प्रयागराज के स्वरूप रानी नेहरू मेडिकल कालेज का है। जूनियर डाक्टर की इंस्पेक्टर द्वारा पिटाई से डाक्टर अधमरा हो गया। घटना के विरोध में जूनियर डाक्टरों ने मरीजों का इलाज रोक दिया और विरोध प्रदर्शन कर बवाल करने लगे। घटना से गुस्साए डाक्टरों व अस्पताल कर्मचारियों ने बदले में इंस्पेक्टर समेत वहां मौजूद तीनों इंस्पेक्टर के तीनों भाईयों को दौड़ा दौड़ा कर पीटा। नाराज डाक्टरों ने मरीजों का उपचार भी रोक दिया। मरीजों का उपचार रूक जाने से वहां अफरा तफरी मच गयी। अन्य मरीजों के परिजन भी हंगामा करने लगे।
मेडिकल कालेज में बवाल की खबर सुनकर आला अफसरों में भी खलबली मच गयी। आनन फानन में पुलिस के बड़ अफसर अस्पताल पहुंचे और डाक्टरों को समझाने की कोशिश की लेकिन डाक्टर नहीं माने। डाक्टरों ने वहां हड़ताल शुरू कर दी। मौके पर पहुंचे अधिकारियों ने इंस्पेक्टर को तत्काल सस्पेंड कर उसके खिलाफ केस दर्ज कर विधिक कार्रवाई करने की बात कही, लेकिन जूनियर डॉक्टर मानने को तैयार नहीं हुए। काफी मनाने और आरोपियों पर सख्त कार्रवाई का आश्वासन देने पर डॉक्टर पर काम लौटे हैं।
प्रतापगढ़ में तैनात इंस्पेक्टर जुल्फिकार अली की मां 18 अप्रैल से स्वरूपरानी नेहरू अस्पताल में भर्ती थी। गुरुवार देर रात उनकी हालत गंभीर हो गई। इस पर डॉक्टरों ने मरीज को कोविड-19 वार्ड में शिफ्ट कर दिया था। जबकि इंस्पेक्टर अपनी मां का इलाज अलग वार्ड में करवाना चाहता था। इसी बात को लेकर इंस्पेक्टर और डॉक्टर के बीच कहासुनी हो गई। इंस्पेक्टर ने अपने दो भाइयों के साथ मिलकर डॉक्टर पर हमला कर दिया।
जूनियर डॉक्टर का सिर फटा
हमले में जूनियर डॉक्टर का सिर फट गया। इससे नाराज अस्पताल कर्मचारियों ने इंस्पेक्टर जुल्फिकार समेत तीनों भाइयों को जमकर पीटा। तीनों वहीं अधमरे होकर गिर गए। इस घटना के बाद से जूनियर डॉक्टर हंगामा करने लगे। उन्होंने अस्पताल का काम छोड़ दिया और हड़ताल पर चले गए। सूचना मिलते ही IG केपी सिंह समेत पुलिस के आला अधिकारी व प्रशासनिक अधिकारी मौके पर पहुंच गए। स्थिति को नियंत्रण करने की कोशिश की गई।