लखनऊ: बिना सूचना लोहिया संस्‍थान के नौ कर्मचारियों को निकालने पर जबर्दस्‍त हंगामा, धरने पर बैठे सैकड़ों कर्मचारी

 | 

न्‍यूज टुडे नेटवर्क। राजधानी लखनऊ के लोहिया संस्‍थान में बिना सूचना के नौ कर्मचारियों को निकाले जाने के बाद शनिवार को हंगामा हो गया। आरोप है कि नौ कर्मियों को बिना की गलती के निकाल दिया गया है जिसका सभी ने विरोध जताया। संस्थान के निदेशक कार्यालय के सामने दिए गए धरने में सैकड़ों कर्मचारियों ने मांगें नहीं माने जाने पर काम बंद करने की चेतावनी दी है। कर्मचारियों के धरने के बाद अस्पताल प्रशासन में अफरतफरी का माहौल पैदा हो गया। कई विभागों में काम प्रभावित होने लगा। इसकी सूचना शासन स्तर के अधिकारियों के पास पहुंची। उसके बाद तुरंत कर्मचारी नेताओं को वार्ता के लिए बुलाया गया।

शासन सतर पर चिकित्सा शिक्षा विभाग के प्रमुख सचिव आलोक कुमार, सचिव सौरभ बाबू ने मामले में हस्तक्षेप किया। इसके बाद लोहिया संस्थान के निदेशक ने कर्मचारी नेताओं को वार्ता के लिए आमंत्रित किया। कर्मचारी नेताओं को आश्वासन दिया गया कि राजभवन में एक अनिवार्य बैठक होने के कारण सोमवार को मामले का निस्तारण कर दिया जाएगा।

आरोप है संस्थान के सीएमएस प्रतिनियुक्ति व सम्बद्ध कर्मचारियों के साथ द्वेष की भावना रखते हैं। उन्होंने निदेशक को भ्रमित कर आदेश पारित कर लिया है। जिससे कर्मचारियों को आंदोलन करने पर विवश किया जा रहा है। शासन के निर्णय का इंतजार किए बिना किसी आदेश के तानाशाही रवैया को अपनाते हुए महानिदेशक स्वास्थ्य के आदेश का उल्लेख करते हुए कार्य मुक्त कर दिया गया। इस तरह की तानाशाही को बर्दाश्त नहीं किया जाएगा ।

वार्ता के दौरान राज्य कर्मचारी संयुक्त परिषद के महामंत्री अतुल मिश्रा , प्रमुख उपाध्यक्ष सुनील यादव, लोहिया कर्मचारी अस्तित्व बचाओ मोर्चा के अध्यक्ष डीडी त्रिपाठी , उपाध्यक्ष अनिल कुमार, मंत्री राजेश श्रीवास्तव , डीएस पाण्डेय ,राजेश शुक्ला शामिल थे।