प्राइवेट पावर कंपनियों से कांग्रेस को कोई राजनीतिक फंडिंग नहीं हुई : अमरिंदर
मुख्यमंत्री ने शिरोमणि अकाली दल (शिअद) की आलोचना करते हुए कहा कि कुछ बिजली कंपनियों द्वारा 2009 और 2014 में पंजाब कांग्रेस को नहीं, बल्कि एआईसीसी को राजनीतिक चंदा दिया गया था, जिसका राज्य की मौजूदा सरकार से कोई संबंध नहीं था। आम आदमी पार्टी (आप) 2022 के पंजाब विधानसभा चुनाव से पहले लोगों को गुमराह करने की एक हताश कोशिश में झूठ फैला रही है।
उन्होंने कहा कि बिजली खरीद समझौतों (पीपीए) पर पिछली शिअद-भाजपा सरकार द्वारा हस्ताक्षर किए गए थे, और कानूनी रूप से बाध्यकारी थे, ताकि उनकी सरकार नकदी की कमी वाले राज्यपर भारी दंड के बिना इसे रद्द न कर सके।
मुख्यमंत्री ने कहा कि उनकी सरकार राज्य के खजाने पर और बोझ डाले बिना पीपीए के दुष्परिणामों को बेअसर करने के लिए कानूनी सहारा तलाश रही है।
--आईएएनएस
एसजीके